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DAV Class 3 Hindi Chapter 2 Question Answer – चतुर कौवा
DAV Class 3 Hindi Ch 2 Question Answer – चतुर कौवा
कविता से
प्रश्न 1.
कौआ क्यों भटक रहा था?
उत्तर :
कौआ पानी की खोज में भटक रहा था।
प्रश्न 2.
कौवे ने पानी कहाँ-कहाँ ढूँढ़ा?
उत्तर :
कौवे ने पानी गाँव-गाँव और नगर-नगर ढूँढ़ा।
प्रश्न 3.
कौआ ने पानी ऊपर लाने के लिए क्या किया?
उत्तर :
कौवे ने पानी ऊपर लाने के लिए घड़े में कंकड़ डाला।
प्रश्न 4.
कौवे को सफलता कैसे मिली?
उत्तर :
कौवे को सफलता उसकी सूझ-बूझ के कारण मिली।
बातचीत के लिए
प्रश्न 1.
किन-किन कामों के लिए पानी की ज़रूरत होती है?
उत्तर :
पीने, कपड़ा धोने, खाना बनाने, स्नान करने, पेड़-पौधों तथा खेतों की सिंचाई के लिए पानी की ज़रूरत होती है।
प्रश्न 2.
पानी बचाने के लिए आप क्या-क्या करते हैं?
उत्तर :
पानी बचाने के लिए हम गंदे पानी को फेंकने नहीं हैं। इस तरह के पानी को पेड़-पौधों में डाल देते हैं, जिससे पौधों की सिंचाई हो जाती है।
प्रश्न 3.
जब आपको प्यास लगती है, तो आप क्या-क्या पीकर अपनी प्यास बुझाते हैं?
उत्तर :
पानी, शरबत, जूस, सिकंजी, लस्सी आदि पीकर अपनी प्यास बुझाते हैं।
भाषा की बात
प्रश्न 1.
कविता में से जोड़े वाले शब्द छाँटकर लिखिए-
नगर-नगर ______ ______
उत्तर :
मारा-मारा
गाँव-गाँव
कंकड़-कंकड़
प्रश्न 2.
अगर कविता में कौवे की जगह ‘चिड़िया’ होती, तो कविता की पंक्तियों में क्या बदलाव आता?
बड़ी प्यास से _______
भटक _______
गाँव-गाँव में नगर-नगर में _______
उत्तर :
बड़ी प्यास से मारी-मारी,
भटक रही चिड़िया बेचारी।
गाँव-गाँव में नगर-नगर में,
पानी ढूँढ़ न पाई हारी।
प्रश्न 3.
नीचे दी गई कविता की पंक्तियों को पूरा कीजए-
उत्तर :
बहुत भूख से बेचैन थी वह
भटक रही थी वह
गाँव-गाँव में, गली-गली में।
भोजन न ढूँढ़ पाई हारी।
अचानक उसने देखा रोटी का टुकड़ा।
पर वह भी बिलकुल रूखा-सूखा।
उसे ही खाकर भूख मिटाई।
खुशी से वह फूली न समाई।
पानी कहाँ-कहाँ?
प्रश्न 1.
हमें पानी अनेक स्रोतों से मिलता है। जिन स्रोतों से हमें पानी मिलता है, उनपर सही (✓) का निशान लगाए-
उत्तर :
बादल [✓]
झरना [✓]
पेड़ [ ]
नदी [✓]
प्रश्न 2.
शब्द जाल में जल (पानी) स्रोतों को ढँढकर लिखिए –
उत्तर :
(क) बरसात
(ख) कुआँ
(ग) नल
(घ) झील
(ङ) झरना
(च) तालाब
(छ) नदी
(ज) सागर
जीवन-मूल्य
कौवा पानी के लिए इधर-उधर भटका और कोशिश करके वह अपनी प्यास बुझा सका।
क्या आप भी समस्याएँ आने पर उनका हल ढूँढ़ सकते हैं?
उत्तर :
हाँ।
आप कौए की सहायता किस प्रकार करते?
उत्तर :
हम उसके लिए पानी की व्यवस्था करते या घड़े में कंकड़-पत्थर डालने में मदद करते।
कुछ करने के लिए
एक गिलास पानी लें, उसमें चुटकी-भर नमक और दो चम्मच चीनी घोल लें। जब उसमें चीनी-नमक अच्छी तरह घुल जाए, तब उसमें आधा कटा हुआ नींबू निचोड़ दें। उसे ठंडा करने के लिए दो-तीन बर्फ के टुकड़े डाले और पीकर आनंद लें।
उत्तर :
छात्र/छात्राएँ स्वयं करें।
DAV Class 3 Hindi Ch 2 Solutions – चतुर कौवा
I. अति लघु उत्तरीय प्रश्न –
प्रश्न 1.
किसे प्यास लगी थी?
उत्तर :
कौए को प्यास लगी थी।
प्रश्न 2.
घड़े में पानी कितना था?
उत्तर :
घड़े में पानी थोड़ा था।
प्रश्न 3.
क्या कौए ने अपनी प्यास बुझाई?
उत्तर :
हाँ, कौए ने अपनी प्यास बुझाई।
प्रश्न 4.
अक्ल और मेहनत से क्या मिल सकती है?
उत्तर :
अक्ल और मेहनत से सफलता मिल सकती है।
II. लघु उत्तरीय प्रश्न –
प्रश्न 1.
घड़े में पानी कम था, कौए ने पानी घड़े में ऊपर लाने के लिए क्या किया?
उत्तर :
कौए ने देखा घड़े में पानी कम है। उसने अपनी बुद्धि और मेहनत से घड़े में कंकड़ डालना शुरू किया। कंकड़ डालने से पानी घड़े में गरदन तक आ गया। फिर कौए ने पानी पीकर अपनी प्यास बुझाई।
अर्थग्रहण संबंधी प्रश्न –
1. बड़ी प्यास से मारा-मारा,
भटक रहा कौवा बेचारा।
गाँव-गाँव में नगर-नगर में,
पानी ढूँढ़ न पाया हारा।
प्रसंग-प्रस्तुत काव्य पंक्तियाँ हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘भाषा माधुरी’ में संकलित कविता ‘चतुर कौवा’ से ली गई हैं। इसके कवि शशिपाल शर्मा जी हैं। इन पंक्तियों में एक ऐसे कौवा की चर्चा की गई है,जो प्यास के कारण इधर-उधर भटक रहा है।
व्याख्या-इन पंक्तियों में कवि ने बताया है कि एक कौवा है, जिसे बड़ी प्यास लगी है। वह पानी की खोज़ में गाँव-गाँव और नगर-नगर भटक रहा है।
बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न 1.
प्रस्तुत पंक्तियों के कवि हैं-
(क) जयशंकर प्रसाद
(ख) शशिपाल शर्मा
(ग) शफ़दर हाशमी
उत्तर :
(ख) शशिपाल शर्मा
प्रश्न 2.
कौवा क्यों भटक रहा था?
(क) भोजन के लिए
(ख) फल के लिए
(ग) पानी के लिए
उत्तर :
(ग) पानी के लिए
प्रश्न 3.
कौवा कहाँ-कहाँ भटक रहा था?
(क) गाँव-गाँव
(ख) घर-घर
(ग) कहीं नहीं
उत्तर :
(क) गाँव-गाँव
प्रश्न 4.
क्या कौवा पानी ढूँढ़ पाया?
(क) हाँ
(ख) नहीं
(ग) हार गया
उत्तर :
(क) हा
प्रश्न 5.
इनमें से कौन-सा शब्द जल का पर्यायवाची नहीं है?
(क) जल
(ख) हवा
(ग) नीर
उत्तर :
(ख) हवा
2. सहसा एक घड़ा जो देखा,
पर पानी था थोड़ा उसमें।
कंकड़-कंकड़ चुनकर कौवा,
लगा फेंकने बीच घड़े में।
प्रसंग-प्रस्तुत काव्य पंक्तियाँ हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘भाषा माधुरी’ में संकलित कविता ‘चुतर कौवा’ से ली गई हैं। इसके कवि शशिपाल शर्मा हैं। इन पंक्तियों में यह बताया गया है कि कैसे एक प्यासा कौवा अपनी सूझ-बूझ से पेंदी में पड़े पानी को घड़े के गरदन तक ले आता है।
व्याख्या-इन पंक्तियों में एक प्यासा कौवा पानी की खोज में इधर-उधर भटक रहा है। अचानक उसने एक घड़ा देखा। वह घड़ा पर जा बैठा, किंतु घड़े में पानी कम होने के कारण उसकी चोंच पानी तक नहीं पहुँच सकी। तब कौए ने कंकड़ चुन-चुनकर घड़े में डालना शुरू किया।
बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न 1.
अचानक कौए ने क्या देखा?
(क) लोटा
(ख) बाल्टी
(ग) घड़ा
उत्तर :
(ग) घड़ा
प्रश्न 2.
क्या घड़े में पानी कम था?
(क) नहीं
(ख) हाँ
(ग) सूखा था।
उत्तर :
(ख) हाँ
प्रश्न 3.
कौए ने घड़े में क्या डाला?
(क) कंकड़
(ख) पत्थर
(ग) पानी
उत्तर :
(क) कंकड़
प्रश्न 4.
कौए ने कंकड़ किसमें डाले?
(क) घड़े में
(ख) बाल्टी में
(ग) गिलास में
उत्तर :
(क) घड़े में
प्रश्न 5.
इनमें ‘थोड़ा’ का विलोम शब्द क्या है?
(क) कम
(ख) ज़्यादा
(ग) कुछ भी नहीं
उत्तर :
(ख) ज़्यादा
3. घड़े की गरदन तक जब पानी
पहुँचा तब निज प्यास बुझाई।
अक्ल और मेहनत के बल पर,
किसने नहीं सफलता पाई।
प्रसंग-प्रस्तुत काव्य पंक्तियाँ हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘भाषा माधुरी’ में संकलित कविता ‘चुतर कौवा’ से ली गई हैं। इससे कवि शशिपाल शर्मा हैं। इन पंक्तियों में यह बताया गया है कि कैसे एक प्यासे कौए ने अपनी अक्ल और मेहनत के बल पर अपनी प्यास बुझाई।
व्याख्या-इन पंक्तियों में यह बताया गया है कि एक कौए को बड़ी प्यास लगी है। वह पानी की खोज़ में गाँव-गाँव और नगर-नगर भटक रहा है। अंत में अपनी सूझ-बूझ से उसने घड़े में कंकड़ डालने शुरू किए, जिससे घड़े की गरदन तक पानी आ गया। इस तरह से चतुर कौए ने अपनी बुद्धि और मेहनत के बल पर अपनी प्यास बुझाई। तात्पर्य यह है कि मेहनत करने वालों को सफलता अवश्य मिलती है।
बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न 1.
घड़े में पानी कहाँ तक पहुँचा?
(क) पेंदी में
(ख) गरदन तक
(ग) पूरा ऊपर तक
उत्तर :
(ख) गरदन तक
प्रश्न 2.
क्या कौए ने अपनी प्यास बुझाई?
(क) नहीं
(ख) हाँ
(ग) दोनों में कोई नही
उत्तर :
(ख) हाँ
प्रश्न 3.
किस तरह के आदमी को सफलता मिलती है?
(क) बुद्धिमान
(ख) मेहनती
(ग) अक्लमंद और मेहनती
उत्तर :
(ग) अक्लमंद और मेहनती
प्रश्न 4.
सफलता का विलोम शब्द इनमें से कौन है?
(क) असफल
(ख) असफलता
(ग) असहज
उत्तर :
(ख) असफलता
प्रश्न 5.
मेहनत का अर्थ इनमें से कौन है?
(क) परिश्रम
(ख) मेहनती
(ग) आलस
उत्तर :
(क) परिश्रम
शब्दार्थः
- चतुर – चालाक
- सहसा – अचानक अक्ल-बुद्धि
- मेहनत – परिश्रम।
चतुर कौवा Summary in Hindi
कविता-परिचय :
‘चतुर कौवा’ शीर्षक कविता में एक ऐसे कौवा के बारे में बताया गया है, जो प्यास से व्याकुल पानी की खोज़ में इधर-उधर भटक रहा है। अंत में कौए ने अपनी अक्ल और मेहनत के बल पर अपनी प्यास बुझाई।
कविता का सारांश :
इस कविता में एक चतुर कौए की सूझ-बूझ और समझदारी की चर्चा की गई है।
एक कौवा प्यास के मारे पानी की खोज में गाँव-गाँव और नगर-नगर भटक रहा था। फिर भी वह पानी ढूँढ़ नहीं पाया।
अचानक उसे एक घड़ा दिखाई दिया। वह घड़े पर जा बैठा, किंतु घड़े में पानी कम होने के कारण उसकी चोंच पानी तक नहीं पहुँच सकी। सहसा उसे एक तरकीब सूझी। उसने पास पड़े कंकड़-पत्थर उठा-उठाकर घड़े में डालना शुरू किया। इससे घड़े में पानी ऊपर आ गया। इस प्रकार कौए ने अपनी अक्ल और मेहनत के बल पर अपनी प्यास बुझाई। तात्पर्य यह है कि अक्ल और मेहनत के बल पर हर किसी ने सफलता पाई है।