Class 6 Hindi Malhar Chapter 8 Satriya Aur Bihu Nritya Question Answer सत्रिया और बिहू नृत्य
सत्रिया और बिहू नृत्य Question Answer Class 6
कक्षा 6 हिंदी पाठ 8 सत्रिया और बिहू नृत्य पाठ के प्रश्न उत्तर – Satriya Aur Bihu Nritya Class 6 Question Answer
पाठ से
आइए, अब हम इस पाठ को थोड़ा और निकटता से समझ लेते हैं। आगे दी गईं गतिविधियाँ इस कार्य में आपकी सहायता करेंगी।
मेरी समझ से
(क) नीचे दिए गए प्रश्नों का सटीक उत्तर कौन-सा है? उसके सामने तारा (*) बनाइए
(i) माँ एलेसेंड्रा के बारे में कौन-सा कथन सत्य है?
- वे असम के जीवन के बारे में बहुत-कुछ जानती थीं। (*)
- उन्हें असम, बिहू और सत्रिया नृत्य से बहुत प्रेम था।
- उन्होंने एंजेला को कुछ धसमिया शब्द भी सिखाए।
- वे अपने कार्य में सहायता के लिए बेटी को लाई थीं।
(ii) “अनु और एंजेला ने तुरंत एक-दूसरे की तरफ़ देखा” क्यों?
- अनु के पास खिलौने थे।
- दोनों की आयु एक समान थी। (*)
- दोनों को अंग्रेज़ी भापा आती थी।
- एंजेला अनु से असमिया भाषा सीखना चाहती थी।
(ख) अब अपने मित्रों के साथ चर्चा कीजिए और कारण बताइए कि आपने ये उत्तर ही क्यों चुने?
उत्तर
वे असम के जीवन के बारे में बहुत-कुछ जानती थीं। पाठ में एक स्थान पर पुल्लेख किया गया है कि एलेसेंड़ा ने गाँव पहुँचने पर अपनी बेटी एंजेला को बताया कि बिहू एक कृषि आधारित त्योहार है। भारत में जनसंख्या का एक बड़ा हिस्सा किसानों का है। असम में बिहू साल में तीन बार मनाया जाता है।
सबसे पहले जब किसान बीज बोते हैं, फिर जब वे धान रोपते हैं और फिर तब, जब खेतों में अनाज तैयार हो जाता है। इससे यह स्पष्ट है कि माँ एलेसेंड़ा असम के ग्रामीण जीवन, बिहू और सत्रिया गुत्य के बारे में काफी जानकारी रखती थीं। दोनों की आयु एक समान थी, क्योंकि पाठ में बताया गया है कि अनु और एंजेला दोनों ही दस साल की थीं। उनकी एक जैसी आयु ने उन्है तुरंत एक-दूसरे के प्रति आकर्षित किया और उन्होंने आपस में बातचीत शुरू की।
मिलकर करें मिलान
पाठ में से कुछ शब्द चुनकर स्तंभ 1 में दिए गए हैं। उनसे संबंधित वाक्य स्तंभ 2 में दिए गए हैं। अपने समूह में इन पर चर्चा कीजिए और रेखा खींचकर शब्दों का मिलान उपयुक्त वाक्यांशों से कीजिए। इसके लिए आप शब्दकोश, इंटरनेट या अपने शिक्षकों की सहायता ले सकते हैं।
स्तंभ 1 | स्तंभ 2 |
1. सत्र | (i) ग्रेगरी कैलेंडर के अनुसार 1 जनवरी, 1901 से 31 दिसम्बर, 2000 तक का समय । |
2. बोहाग बिहू | (ii) यूनाइटेड किंगडम और इंग्लैंड की राजधानी। |
3. लंदन | (iii) ‘यूनाइटेड किंगडम’ देश की एक सरकारी संस्था |
4. गुवाहाटी | (iv) असम में मनाया जाने वाला एक त्योहार। यह असम में नए वर्ष की शुरुआत और वसंत के आगमन का प्रतीक है। |
5. ब्रिटिश अकादमी | (v) भारत के असम राज्य का प्राचीन और सबसे बड़ा नगर है। |
6. बीसवीं शताब्दी | (vi) ये असम के मठ हैं। इनकी संख्या पाँच सौ से भी ज्यादा है। ये पूजा-पाठ और धार्मिक गतिविधियों के स्थान हैं। सत्रिया नृत्य की उत्पत्ति इन्हीं सत्रों में हुई है। |
उत्तर :
स्तंभ 1 | स्तंभ 2 |
1. सत्र | (vi) ये असम के मठ हैं। इनकी संख्या पाँच सौ से भी ज्यादा है। ये पूजा-पाठ और धार्मिक गतिविधियों के स्थान हैं। सत्रिया नृत्य की उत्पत्ति इन्हीं सत्रों में हुई है। |
2. बोहाग बिहू | (iv) असम में मनाया जाने वाला एक त्योहार। यह असम में नए वर्ष की शुरुआत और वसंत के आगमन का प्रतीक है। |
3. लंदन | (ii) यूनाइटेड किंगडम और इंग्लैंड की राजधानी। |
4. गुवाहाटी | (v) भारत के असम राज्य का प्राचीन और सबसे बड़ा नगर है। |
5. ब्रिटिश अकादमी | (iii) ‘यूनाइटेड किंगडम’ देश की एक सरकारी संस्था |
6. बीसवीं शताब्दी | (i) ग्रेगरी कैलेंडर के अनुसार 1 जनवरी, 1901 से 31 दिसम्बर, 2000 तक का समय । |
पंक्तियों पर चर्चा
पाठ में से चुनकर कुछ पंक्तियाँ नीचे दी गई हैं। इन्हें ध्यान से पेढ़िए और इन पर विचार कीजिए। आपको इनका क्या अर्थ समझ में आया? अपने विचार अपनी कक्षा में साझा कीजिए और लिखिए।
(क) असम, भारत के पूर्वोत्तर क्षेत्र में है, जिसे अपने बन्य जीवन, रेशम और चाय के बागानों के लिए जाना जाता है। इसके साथ असम में तृत्य की भी एक समृद्ध परंपरा है।
उत्तर :
प्रस्तुत पंक्ति में असम के सांस्कृतिक और प्रकृतिक धरोहरों का वर्णन किया गया है। असम न केवल अपने सुंदर वन्यजीव अभ्यारण्यों, रेशम उत्पादन और चाय के बागानों के लिए प्रसिद्ध है, बल्कि बहाँ की नृत्य परंपराएँ भी अर्यधिक समृद्ध और महत्त्वपूर्ण हैं। यह पंक्ति असम की सांस्कृतिक विविधता और प्राकृतिक सौदर्य को दर्शाती है। इसमें यह भी संकेत है कि असम की पहचान न केवल उसके प्राकृतिक संसाधनों से बल्कि उसकी सांस्कृतिक धरोहर सृत्य परंपरा से मी होती है।
(ख) “पूरी दुनिया की संस्कृतियों में लोग नृत्य और संगीत से अपनी भावनाओं को व्यक्त करते हैं।”
उत्तर :
प्रस्तुत पंक्ति का अर्थ यह है कि नृत्य और संगीत दुनिया भर में सभी संस्कृतियों का एक अभिन्न हिस्सा हैं। लोग अपने आनंद, दुख, प्यार, और अन्य भावनाओं को व्यक्त करने की लिए नृत्य और संगीत का सहारा लेते हैं। नृत्य और संगीत मानवता की सार्वभौमिक भाषा है, जो लोगों को भावनात्मक रूप से जोड़ने में सक्षम हैं।
सोच-विचार के लिए
निबंध को एक बार फिर से पढ़िए और निम्नलिखित के बारे में पता लगाकर अपनी लेखन पुस्तिका में लिखिए-
(क) एंजेला के मन में कई तरह के विचार चल रहे थे।
उसके मन में कौन-कौन से विचार चल रहे होंगे?
उत्तर :
एंजेला के मन में कई तरह के विचार चल रहे थे। उसने सोचा कि ‘बिहू’ जैसे उत्सव और नृत्य दोनों का एक ही नाम कैसे हो सकता है। उसे इस बात पर आश्चर्य हुआ कि क्या संगीत और नृत्य केवल त्योहारों तक ही सीमित होते है। उसने माँ से यह भी पूछा कि क्या असम में लोग रोज़मर्रा की जिदरी में भी इस तरह से नृत्य और संगीत का आनंद लेते हैं या फिर यह केवल विशेष अवसरों के लिए ही होता हैं। इन सब बातों से एंजेला के मन में असम की सांस्कृतिक परंपराओं को लेकर अनेक विचार आए होंगे।
(ख) बिहू एक कृषि आधारित त्योहार है। कैसे?
उत्तर :
बिहू एक कृषि आधारित त्योहार है, क्योंकि यह त्योहार असम के किसानों के जीवन और कृषि से गहराई से जुड़ा हुआ है। बिद्यू तीन बार मनाया जाता है-पहली बार जब किसान बीज़ बोते हैं (रोंगाली बिहि, दूसरी बार जब वे धान रोपते हैं (भोगाली बिहू) और तीसरी बार जब खेतों में फसल तैयार हो जाती है (कोंगाली विहू) इन तीनों अवसरों पर किसान अपनी मेहनत और प्रकृति की कृपा का उत्सव मनाते हैं। इस तरह, बिहू असम की कृषि संस्कृति का एक महत्तपूर्ण हिस्सा है।
(ग) ऐसा लगता है कि भारत से जाने के बाद भी एंजेला के मन में असम ही छाया हुआ था। पाठ से इस कथन के समर्थन के लिए कुछ्छ उदाहरण खोजकर लिखिए।
उत्तर :
एंजेलां कें मन में असम से जुड़ी यादें इतनी गहरी थीं कि भारत से जाने के बाद भी वह असम के नृत्यों-बिहू और सत्रिया-के बारे में सोचती रही। वह चलने, खाना खाने और यहाँ तक कि खेलने के दौरान भी नृत्य करती रही। वापस लंदन जाने के बाद वह उन सभी रिकॉंडिंग्स को देखती रही, जो उसकी माँ ने रिकॉर्ड की थी। पूरे उत्साह के साथ वह असम की समृद्ध नृत्य परंपरा को याद करती रही। इसके अतिरिक्त, उसने लंदन में अपनी कक्षा में भी असम के नृत्यों का प्रदर्शन किया, जिसे देखकर उसके सहपाही और शिक्षक बहुत प्रभावित हुए। ये सभी उदाहरण यह दिखाते है कि एंजेला के मन में असम की गहरी छाप थी, जो भारत से जाने के बाद भी उसके साथ बनी रही।
(घ) समय के बदलने के साथ-साथ सत्रिया नृत्य की परंपरा में क्या बदलाव आया है?
उत्तर :
समय के बदलने के साथ-साथ सत्रिया नृत्य की परंपरा में महत्त्वपूर्ण बदलाव आए हैं। पहले यह नृत्य केवल मठों में और पुरुष साधुओं के द्वारा ही किया जाता था, लेकिन बीसवीं शताब्दी के मध्य में कुछ साधुओं ने मठों से बाहर आकर महिलाओं को भी सत्रिया नृत्य सिखाना शुरू किया। शुरू में इसका विरोध हुआ और इन साधुओं को मठों से निकाल दिया गया। लेकिन धीरे-धीरे इस नृत्य को महिलाओं के द्वारा भी अपनाया गया और अब आधुनिक दौर में महिला सत्रिया कलाकारों के लिए मंच पर नृत्य करना आम बात हो गई है।
निबंध की रचना
“गुवाहाटी के एक होटल में सामान्य होने के बाद वे उसी शाम पास के एक गाँव मलंग में गए। गाँव पहुँचने पर माँ ने एंजेला को बताया कि बिहू एक कृषि आधारित त्योहार है। असम में बिहू साल में तीन बार मनाया जाता है।”
इन वाक्यों में बिहू और असम का ऐसा रोचक और सरस वर्णन किया गया है कि लगता है मानों हम कोई कहानी पढ़ रहे है।
इस निबंध में वस्तु, घटना, प्रदेश आदि का वर्णन किया गया है। इसमें जो कुछ भी स्वयं देखा गया है, उसका वर्णन किया गया है। इस प्रकार के निबन्धों में घटनाओं का एक क्रम होता है। इनमें आम जीवन की बातें होती हैं। इनकी भाषा सरल होती है। उदाहरण के लिए होली, दीपावली आदि के बारे में बताना।
इस पाठ को एक बार फिर से पढ़िए और इसकी बनावट पर ध्यान दीजिए। इस पाठ की विशेषताएँ पहचानिए और अपनी कक्षा में साझा कीजिए और लिखिए, जैसे इस पाठ में लंदन से यात्रा शुरू करने से लेकर वापस लंदन पहुँचने तक के अनुभवों का वर्णन किया गया है।
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
अनुमान या कल्पना से
अपनी कक्षा में चर्चा कीजिए
(क) बिहू नृत्य और इसके उत्सव से अचंभित पंजेला और उसके परिवार ने इसके साथ-साथ लजीज पकवानों का पूरा आनंद लिया।
एंजेला और उसका परिवार बिहू नृत्य और उसके उत्सव को देखकर अचंभित क्यों हो गया?
उत्तर :
एंजेला और उसका परिवार बिंहू नृत्य और उसके उत्सव को देखकर अचंभित हो गया, क्योंकि उन्होंने इससे पहले कभी ऐसी जीवंतता और सांस्कृतिक विविधता का अनुभव नहीं किया था। विहू उत्सव असम की सांस्कृतिक परंपरा की अनूठी झलक पेश करता है, जिसमें रंग-बिरंगे परिधान, जीवंत संगीत और नृत्य की विशेष शैली शामिल होती है। इस उत्सव के दौरान नुतकों की ऊर्जा और उत्साह ने उन्हें पूरौ तरह से प्रभावित किया। इसके साथ ही, असम के स्वादिष्ट भोजन ने भी उनके अनुभव को खास बना दिया। इस प्रकार के सांस्कृतिक प्रदर्शन ने एंजेला और उसके परिवार को मंत्रमुग्ध कर दिया, जिससे उन्हें एक अनूठा अनुभव मिला।
(ख) “जब तक एंजेला कुछ समझ पाती, तब तक वह लंदन से नई दिल्ली होते हुए गुवाहाटी की उड़ान पर थी।” एंजेला और उसकी माँ एलेसेंड्रा ने भारत की यात्रा से पहले कौन-कौन सी तैयारियाँ की होंगी?
उत्तर :
एंजेला और उसकी माँ एलेसेंड्रा ने भारत की यात्रा से पहले कई महत्तपूर्ण तैयारियाँ की होगी। उन्होंने पासपोर्ट और वीजा की व्यवस्था की होगी और यात्रा की योजना बनाई होगी, जिसमें गंतव्य स्थानों की जानकारी शामिल थी। एलेसेंड्रा ने अपनी फिल्म के लिए आवश्यक उपकरणों की, जाँच की होगी और दोनों ने यात्रा के लिए आवश्यक वन्न और दथाइयों भी पैक की होंगी। इसके अलावा, उन्होंने भारत के सांस्कृतिक और भौगोलिक विशेषताओं के बारे में जानकारी जुटाई होगी, ताकि वे यात्रा के दौरान स्थानीय लोगों और परंपराओं को समझ सकें।
(ग) “वहाँ एक बड़े से बरगद के पेड़ के नीचे मंच बनाया गया था।” बिह्. नृत्य के लिए बरगद के पेड़ के नीचे मंच क्यों बनाया गया होगा?
उत्तर :
बिहू नृत्य के लिए बरगद के पेड़ के नीचे मंच बनाए जाने का कारण यह हो सकता है कि बरगद का पेड़ छाँव और सुरक्षा प्रदान करता है। यह पेड़ गाँवों में पवित्र माना जाता है और ग्रामीण उत्सवों के लिए आदर्श स्थान होता है। इसके नीचे नृत्य और अन्य सांस्कृतिक गतिविधियों का आयोजन पारम्परिक और सांस्कृतिक महत्व को दर्शाता है, साथ ही प्राकृतिक वातावरण में उत्सव का आनंद भी बढ़ जाता है।
शब्दों की बात
नीचे शब्दों से जुड़ी कुछ गतिविधियाँ दी गई हैं। इन्हें करने के लिए आप शब्दकोश, अपने शिक्षकों और मित्रों की सहायता भी ले सकते हैं।
असम से जुड़े शब्द :
इस पाठ में अनेक शब्द ऐसे हैं जो असम से विशेष रूप से जुड़े हैं। अपने समूह में मिलकर उन शब्दों की पहचान कीजिए। इसके बाद उन्हें नीचे दिए गए स्थान पर लिखिए
(संकेत असम के नृत्य, त्योहार, भाषा आदि।)
उत्तर :
- अंसमिया भाषा
- सत्रिया नृत्य
- बिहू नृत्य व त्योहार
- मठों की पीठ
- झूमर नृत्य
- बैशगु त्योहार
तीन बिहू
“असम में बिहू साल में तीन बार मनाया जाता है।”
(क) एंजेला और उसकी माँ एलेसेंड्रा कौन-से बिहू के अवसर पर भारत आए थे? लिखिए।
उत्तर :
एंजेला और उसकी माँ एलेसेंड्रा रोंगाली बिहू के अवसर पर भारत आए थे। रोंगाली बिहू, जिसे बोहाग बिहू भी कहा जाता है, असम का प्रमुख फसल उत्सव है। यह अप्रैल माह में वसंत के आने की खुशी में मनाया जाता है।
(ख) तीनों बिहू के लिए लिखिए कि उस समय किसान खेतों में क्या 1. कर रहे होते हैं?
उत्तर :
असम में बिहू के तीन प्रमुख त्योहार होते हैं
(i) रोंगाली या बोहाग बिहू (बैसाख, सामान्यत: अप्रैल में) इस समय किसान नए साल के स्वागत के साथ खेतों में बीज बोने की तैयारी करते हैं। यह खेती का सबसे महत्त्वपूर्ण चरण होता है, जहाँ वे अपनी आगामी फसलों के लिए खेतों को तैयार करते हैं।
(ii) भोगाली या माघ बिहू (माघ, सामान्यतः जनवरी में) इस समय किसान अपनी फसल की कटाई कर लेते हैं। फसल कटाई के बाद यह समय फसलों के भंडारण और उसके बाद के भोज और उत्सव का होता है। त्योहार फसल के मौसम के अंत का प्रतीक है और आमतौर पर जनवरी में मनाया जाता है।
(iii) कोंगाली या काटी बिहू (कार्तिक, सामान्यतः अक्टूबर में) काटी बिहू के समय किसान धान के पौधों की देखभाल करते हैं और पौधों की सुरक्षा के लिए दीप जलाते है। कोगाली बिहू अच्छी फसल के लिए प्रार्थनाओं से जुड़ा है। यह अक्टूबर माह में मनाया जाता है।
पाठ से आगे
आपकी बात
अपने समूह में चर्चा कीजिए
(क) “रीना आंटी की एक बिटिया थी- अनु” बिटिया का अर्थ है बेटी’। बेटी को प्यार से बुलाने के लिए और स्नेह जताने के लिए ‘बिटिया’ शब्द का प्रयोग भी किया जाता है। ‘बिटिया’ जैसा ही एक अन्य शब्द ‘बिट्टो’ भी है। आपके घर में आपको प्यार से किन-किन नामों से पुकारा जाता है?
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
(ख) आपके नाम का क्या अर्थ है? आपका नाम किसने रखा? पता करके बताइए।
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
(ग) “वे एक साथ खेल रहे थे”
आप कौन-कौन से खेल अपने मित्रों के साथ मिलकर खेलते हैं? बताइए।
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
(घ) “असम में नृत्य की भी एक समृद्ध परंपरा है।’ आपने इस पाठ में बिहू और सत्रिया नृत्यों के बारे में तो पढ़ा है। आपके प्रांत में कौन-कौन से नृत्य प्रसिद्ध हैं? आपको कौन-सा नृत्य करना पसंद है?
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
पूर्वोत्तर की यात्रा
असम भारत के पूर्वोंत्तर भाग में स्थित है। असम के अतिरिक्त पूर्वोंत्तर भारत में सात अन्य राज्य भी हैं। आपको अवसर मिले तो इनमें से किसी राज्य की यात्रा कीजिए। आठ राज्यों के नाम हैं-अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, मिजोरम, मेघालय, त्रिपुरा, नागालैंड, मणिपुर और असम।
टाइम मशीन
“उसे ऐसा लग रहा था, जैसे वह आश्चर्यजनक रूप से किसी टाइम मशीन में आकर बैठ गई हो!”
क्या आपने पहले कभी ‘टाइम मशीन’ का नाम सुना है? टाइम मशीन ऐसी काल्पनिक मशीन है, जिसमें बैठकर बीते हुए या आने वाले समय की दुनिया में पहुँचा जा सकता है। टाइम-मशीन’ को अभी तक बनाया नहीं जा सका है। लेकिन अनेक लेखकों ने ‘टाइम मशीन’ के बारे में कहानियाँ लिखी हैं, अनेक फ़िल्मकारों ने इसके बारे में फ़िल्में बनाई हैं।
(क) यदि आपको टाइम मशीन मिल जाए तो आप उसमें बैठकर कौन-से समय में और कौन-से स्थान पर जाना चाहेंगे? क्यों?
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
(ख) आपको यदि कोई ऐसी वस्तु बनाने का अवसर मिले जो अभी तक नहीं बनाई आप क्या बनाएँगे? क्यों बनाएँगे?
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
(ग) क्या आपेने कभी किसी संग्रहालय की यात्रा की है? संग्रहालय ऐसा स्थान होता है जहाँ विभिन्न कालों की प्राचीन वस्तुएँ देखने को मिलती हैं। कभी-कभी संग्रहालय की यात्रा भी ‘टाइम मशीन’ की यात्रा जैसी लगती है।
अवसर मिले तो आप भी किसी संग्रहालय की यात्रा अवश्य कीजिए और उसके बारे में कक्षा में बताइए।
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
खिलौने विभिन्न प्रकार के
“एंजेला को अनु के खिलौने बहुत अच्छे लगे, जो थोड़े अलग तरह के थे।”
(क) अनु के खिलौने कैसे थे? लंदन में एंजेला के खिलौने कैसे रहे होंगे?
उत्तर :
अनु के खिलौने असम की स्थानीय संस्कृति और परंपराओं से जुड़े हुए थे। इनमें गुड़िया, लकड़ी के खिलौने और नारियल की जटा से बने घर शामिल थे। ये खिलौने प्राकृतिक सामग्रियों से बने होते थे और साधारण, लेकिन अनोखे थे, जो स्थानीय कारीगरों की कला और कौशल को दर्शाते हैं। इनमें एक अलग ही आकर्षण था, जो एंजेला के लिए नया और रोचक था। लंदन में एंजेला के खिलौने आधुनिक और तकनीकी हो सकते थे, जैसे इलेक्ट्रॉनिक खिलौने, प्लास्टिक से बने खिलौने और वर्चुअल गेम्स लंदन की संस्कृति और शहरी जीवन शैली के अनुरूप, उसके खिलौने आमतौर पर बाजार में उपलब्ध होते होंगे। ये खिलौने ज़्यादा चमकदार, आकर्षक और शायद अधिक जटिल होते होगे, लेकिन वे स्थानीय संस्कृति से जुड़े नहीं होते जैसे कि अनु के खिलौने थे।
(ब) आप घर पर कौन-कौन से खिलौनों से खेलते रहे हैं? उनके नाम बताइए।
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
(ग) भारत के प्रत्येक प्रांत में हाथ से बच्चों के अनोखे खिलौने बनाए जाते हैं। आपके यहाँ बच्चों के लिए हाथ से बने कौन-कौन से खिलौने मिलते हैं?
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
(घ) भारत के बच्चे स्वयं भी अपने लिए अनोखे खिलौने बना लेते हैं। आप भी तो कागज, मिट्टी आदि से कोई न कोई खिलौना बनाना जानते होंगे? आप अपने हारों से बनाए किसी खिलौने को कक्षा में लाकर दिखाइए और उसे बनाने का तरीका सबको सिखाइए।
उत्तर :
छात्र स्वयं करें।
पत्र
(क) मान लीजिए आप एंजेला हैं।
आप लंदन लौट चुकी हैं और आपको
भारत की बहुत याद् आ रही है। अपनी
सखी अनु को पत्र लिखकर बताइए
कि आपको कैसा अनुभव हो रहा है।
उत्तर :
प्रिय सहेली अनु,
नमस्ते!
कैसी हो? लंदन लांडन के बाद, मैं एक अलग ही दुनिया महसूस कर रही हूँ। भारत की वो रंग-बिरंगी गलियाँ और तुम्हारे साथे बिताए हुए पल मुझे हर रोज़ याद आते हैं। वहाँ की जीवनशैली, लोगों की सादगी और तुम्हारे अनोखे खिलौने मेरी यादों में बसे हुए हैं। तुम्हारे खिलॉने सचमुच बहुत खास थे। वे न केवल सुंदर थे, बल्कि उनके पीछे की सोच और रचनात्मकता ने मुझे प्रभावित किया। यहाँ के खिलौने मेरे लिए उतने खास नहीं हैं।
मैं अक्सर उन दिनों के बारे में सोचती है, ज्ञब हम साथ में घूमते थे, खेलते थे। हम दोनों जब साथ में सत्रिया नृत्य देखने गए थे, वह अनुभव मेरे लिए अविस्मरणीय है। सत्रिया नृत्य की वो अद्भुत प्रस्तुति, जिसमें जय-विजय की कहानी को जीवंत होते देखा, आज भी मेरी आँखों के सामने घूमती है। नृत्यांगनाओं की अद्भुत मुद्राएँ और उनके हर भाव में छिपी कला ने मेरे दिल को गहराई से छू लिया। मैं आज भी उस नृत्य की सुंदरता और उसकी पारंपरिकता को महसूस कर सकती हूँ। तुम्हारे साथ बिताए गए वो पल मेरे लिए बहुत खास हैं और वे हमेशा मेरी यादों में ताजा रहेंगे। मैं जल्द ही तुमसे मिलने की उम्मीद करती है, ताकि हम फिर से साथ में हैस सकें, खेल सकें और नई यादें, बना सकें।,
तुम्हारी प्यारी सहेली
एंजेला।
(ख) आप जानते होंगे कि पत्र लिखने के लिए आवश्यक सामग्री; जैसेपोस्टकार्ड, अन्तरेंशीय लिफाफे आदि डाकघर से खरीदे जा सकते हैं। संभव हो तो आप भी अपने घर के पास डाकघर में जाइए और एक पोस्टकार्ड खरीदकर पत्र लिखने के लिए उसका उपयोग कीजिए।
उत्तर :
छात्र स्वयं करे।
(ग) क्या आपने कभी डाक टिकट देखा है? संसार के सभी देश डाक-टिकट जारी करते हैं। भारत का डाक विभाग भी
समय-समय पर डाक टिकट जारी करता है। डाक टिकट किसी देश की संस्कृति के बारे में महत्त्वपूर्ण जानकारी भी उपलब्ध कराते हैं। इसलिए अनेक लोग देश-विदेश के डाक टिकटों को एकत्रित करना पसंद करते हैं।
नीचे भारत के विभिन्न लेखकों के सम्मान में जारी किए गए कुछ डाक-टिकटों के चित्र दिए गए हैं। इन्हें ध्यान से देखिए
(i) आपको इनमें से कौन-सा डाक टिकट सबसे अच्छा लगा और क्यों?
उत्तर छात्र स्वर्यं करें।
(ii) डाक टिकटों पर लेखकों के बारे में कौन-कौन सी जानकारी दी गई है?
उत्तर :
टिकटों पर लेखकों की तस्वीर के साथ उनके नाम, जन्म और मृत्यु की तिथियाँ और कभी-कभी उनके साहित्यिक योगदान का उल्लेख किया गया है। उदाहरण के लिए, महादेवी वर्मा के डाक टिकट पर उनकी छवि के साथ उनका नाम और उनके महत्त्वपूर्ण साहित्यिक योगदान का संकेत दिया गया है।
आज की पहेली
आज हम आपके लिए लाए हैं कुछ असमिया पहेलियाँ। हो सकता है इनमें से कुछ पहेलियों को पढ़कर आपको लगे, अरे! ये पहेली तो मेरे घर पर भी बूझी जाती है! तो कुछ पहेलियाँ आप पहली बार बूझेंगे। तो आइए, आनंद लेते हैं इन रंग-बिरंगी पहेलियों का।
उत्तर :
1. मूली
2. नारियल
3. होंठ
4. चींटी
सत्रिया और बिहू नृत्य Class 6 Summary Explanation in Hindi
प्रस्तुत पाठ ‘सत्रिया और बिहू नृत्य’ लेखिका जया मेहता की पुस्तक ‘नृत्य कथा’ से लिया गया है। इस पाठ में लेखिका ने सांस्कृतिक विविधता, नए अनुभवों की समृद्धि और भारत की अनोखी संस्कृति और कला व नृत्यकला के प्रति आकर्षण को बताया है।
इस पाठ में एंजेला और उसका परिवार भारत की सांस्कृतिक विविधता और समृद्धि से प्रभावित होकर असम की यात्रा पर आता है। असम के बिहू और सत्रिया नृत्य के माध्यम से उन्हें भारतीय संस्कृति की गहराई और उसकी अनूठी विशेषताओं का अनुभव होता है।
इस अनुभव ने न केवल एंजेला की सोच और दृष्टिकोण को बदल दिया, बल्कि उसे एक नए सांस्कृतिक आयाम से भी अवगत कराया।
केंजिंग्टन में एंजेला का जीवन
एंजेला लंदन के प्रतिष्ठित केंजिंग्टन क्षेत्र में अपने माता-पिता के साथ रहती थी। उसका स्कूल घर से नज़दीक था और उसके कोई सगे भाई-बहन नहीं थे। एंजेला को अपने दोस्तों जेम्स और कीरा के साथ समय बिताना पसंद था।
वे अक्सर कुल्पनिक दुनिया की कहानियों में खो जाते थे, जिनमें वे प्रसिद्ध स्थिलों जैसे ताजमहल, एफिल टॉवर या कोलोजियम की यात्राएँ करते। एंजेला को हमेशा से ऐसी कहानियों से प्यार था, जो उसे रोमांचक यात्राओं की दुनिया में ले जाती थीं, लेकिन उसे यह अंदाज़ा नहीं था कि जल्द ही उसकी ये कहानियाँ सच हो जाएँगी।
असम की यात्रा की योजना
एंजेला की माँ, एलेसेंड्रा, एक डॉक्यूमेंट्री फिल्म निर्माता थीं, जिन्हें असम की नृत्य परंपरा पर फिल्म बनाने के लिए ब्रिटिश अकादमी से आर्थिक सहयोग मिला था। इस कार्य के लिए उन्हें मात्र एक महीने का समय मिला था। एंजेला की बसंत की छुट्टियों को एक हफ़्ते और बढ़ाकर, एलेसेंड्रा ने एंजेला और उसके पिता ब्रायन को भी इस यात्रा में सम्मिलित कर लिया। बहुत ही जल्दबाजी में बनाई गई इस यात्रा की योजना ने एंजेला को चौंका दिया, लेकिन उसकी माँ को काम समय पर पूरा करना था, इसलिए वे सभी जल्दी ही तैयार हो गए।
असम की सुंदरता और बिहू नृत्य का अनुभव
यात्रा के दौरान उसकी माँ ने उसे असम की प्राकृतिक सुंदरता और सांस्कृतिक धरोहर के बारे में बताया कि असम अपने वन्यजीवन, रेशम और चाय के बागानों के साथ-साथ नृत्य की समृद्ध परंपरा के लिए प्रसिद्ध है।
वे अप्रैल के महीने में गए थे, तब असम में नए साल का समय होता है और वसंत का उत्सव ‘बिहू’ मनाया जाता है, वे भी वहाँ बसंत के आगमन के उपलक्ष्य में मनाए जाने वाले बिहू उत्सव का हिस्सा बनने वाले थे।
एंजेला और उसके परिवार के मलंग गाँव पहुँचने पर एंजेला को माँ ने बिहू के बारे में जानकारी दी कि यह एक कृषि आधारित त्योहार है। भारत के अधिकांश लोग किसान हैं और असम में बिह् तीन बार मनाया जाता है- जब किसान बीज बोते हैं, जब धन रोपा जाता है और जब फसल कटने के लिए तैयार हो जाती है।
बिहू उत्सव का आनंद और नृत्य का महत्त्व
एजेला और उसके परिवार ने बिहृत्य और इसके साथ-साथ लजीज पकवानों का आनंद लिया। जब वे वापस लॉटे, तब एंजेला ने माँ से इस बारे में चर्चा की। उसे इस बात पर खुशी हुई कि बिहू नामक यह उत्सव और नृत्य एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं।
उसने माँ से पूछा कि क्या संगीत और नृत्य सिर्फ त्योहारों पर ही होते हैं। माँ ने बताया कि पूरी दुनिया में लोग नृत्य और संगीत के माध्यम से अपनी भावनाओं को व्यक्त करते हैं, और भारत में विशेष रूप से यह संस्कृति बहुत समृद्ध है।
असम और लंदन की संस्कृति में अंतर
अगले कुछ दिनों में, एंजेला की माँ डॉक्यूमेंट्री के लिए तथ्य जुटाने और साक्षात्कार लेने में व्यस्त रहीं। इस दौरान, एंजेला ने अपने आसपास की चीजों को ध्यान से देखा और महसूस किया कि असम का जीवन लंदन से कितना अलग है। उसे अपनी माँ पर गर्व हुआ, जो एक वैज्ञानिक-कहानीकार की तरह अपनी फ़िल्मों में कई महत्त्वपूर्ण चीज़ें एक साथ दिखाती हैं। एंजेला के मन में बिहू नृत्य और उत्सव की स्मृतियाँ गहराई तक बैठ गई।
उत्तरी असम की यात्रा और अनु-एंजेला की दोस्ती
अगले दिन एंजेला और उसका परिवार उत्तरी असम की ओर रवाना हुआ, जहाँ सत्रों अर्थात् मठों की पीठ है। वे दक्षिणापथ सत्र के पास रहने के लिए जा रहे थे क्योंकि वहाँ सत्रिया नृत्य का फ़िल्मांकन करना था। इस यात्रा में उनकी मुलाकात असम की प्रसिद्ध लेखिका रीना सेन से हुई, जिनके घर पर उन्हें ठहरना ‘था।
रीना आंटी की एक बेटी थी, जिसका नाम अनु था। अनु और एंजेला ने एक-दूसरे से दोस्ती कर ली। दोनों की उम्र लगभग दस साल थी। अनु ने एंजेला को असमिया शब्द सिखाए। एंजेला को अनु के अनोखे खिलौने लकड़ी के तीर-कमान और नारियल की जटा से बने घर बहुत पसंद आए। दोनों ने राम और राबण की भूमिका निभाई और खूल मस्ती की।
सत्रिया नृत्य का फिल्मांकन और महिलाओं की भागीदारी
एंजेला और अनु ने देखा कि एलेसेड्रा (एंजेला की माँ) वैष्णब मठ के सभागार में युवा साधुओं के नृत्य का फ़िल्मांकन कर रही थी। एंजेला को आश्चर्य हुआ कि क्या सत्रिया नृत्य सिर्फ़ लड़कों और पुरुषों के लिए है? दोनों बच्चियों ने कल्पना की कि काश वे भी उन साधुओं की तरह गा सकते, नृत्य कर सकते और छद्य युद्ध का अभिनय कर सकते!
एंजेला की माँ ने उसे बताया कि बीसवीं शताब्दी के मध्य में कुछ साधु मठों से बाहर आकर पुरुषों और महिलाओं को सत्रिया नृत्य सिखाने लगे। प्रारंभ में, ऐसे साधुओं को मठों से निकाल दिया गया, लेकिन समय के साथ महिला सत्रिया कलाकारों के लिए मंच पर नृत्य करना आम हो गया।
सत्रिया नृत्य का अद्वितीय अनुभव
एंजेला के आग्रह पर रीना आंटी ने अनु को सत्रिया नृत्य देखने की अनुर्मति दी। उस रात एंजेला और अनु ने भगवान विष्णु के द्वारपालों, जय-विजय की कहानी को सत्रिया नृत्य के माध्यम से देखा।
जैसे-जैसे कथा आगे बढ़ी, एंजेला और अनु ने देखा कि किस प्रकार जय और विजय ने भगवान विष्णु से मिलने आए ॠषियों को रोका, जिससे नाराज होकर ऋषियों ने उन्हें असुर बनने का श्राप दिया। भगवान विष्णु के जागने पर उन्हें अपने द्वारपालों को श्राप से मुक्त करने के लिए उन्हें मारने का वचन देना पड़ा। इस नाटकीय प्रस्तुति और महिला नृत्यांगनाओं की शक्ति, बल और आकर्षण ने एंजेला को गहराई से प्रभावित किया। यह अनुभव इतना जीबंत और रोचक था कि इसके बाद के दिनों में एंजेला के मन में केवल सत्रिया नृत्य ही घूमता रहा।
लंदन में वापसी और एंजेला का नृत्य प्रदर्शन
एंजेला जब लंदन लौटी, तो उसने अपनी माँ द्वारा रिकॉर्डं की गई वीडियो को बार-बार देखा और असम की समृद्ध नृत्य परंपरा को याद किया। एंजेला की इस गहरी रुचि को देखते हुए, उसके माता-पिता ने उसके लिए असमी नृत्य पर एक विशेष योजना बनाई। एंजेला ने लंदन में अपनी कक्षा में असमी नृत्य का प्रदर्शन किया, जिसमें उसने स्वयं किए गए नृत्य की वीडियो रिकॉर्डिंग भी दिखाई। उसके सहपाठियों और शिक्षकों ने इसे बहुत सराहा।
शब्दार्थ
शब्द – हिंदी अर्थ
- डॉक्यूमेंट्री – वास्तविक घटनाओं, तथ्यों या स्थितियों पर आधारित फिलम
- वित्तीय – आर्थिक, पैसे से संबंधित।
- परंपरा – रीति-रिवाज
- साक्षात्कार – प्रत्यक्ष भेंट
- अचंभित – बहुत अधिक आश्चर्यचकित या हैरान होना।
- वृत्तचित्र – किसी विशिष्ट विषय पर आधारित दस्तावेजी फिल्म
- शुभारंभ – किसी कार्य या योजना की शुरुआत।
- सभागार – वह स्थान जहाँ लोग एकत्र होते हैं।
- काल्पनिक – केवल कल्पना मात्र, वास्तविक न हो।
- मनोरंजन – वह प्रक्रिया जिससे मन को खुशी और आनंद मिलता है।
- सभ्यता – समाज की सांस्कृतिक, नैंतिक और वैज्ञानिक उन्नति की स्थिति।
- संवेदनशील – जिसे बहुत जल्दी और गहराई से महसूस किया जा सके।
- अनोखा – अद्वितीय, विशेष
- मंत्रमुग्ध – मोहित।
- उत्सव – त्योहार
- अचंभित – आश्चर्यचकित
- बहुतायत – बड़ी संख्या में, प्रचुरता से
- छद्म – नकली, झूठा
- श्राप – शाप, किसी को बददुआ देना
- नृत्यांगना – नृत्य करने वाली महिला
- मुद्राएँ – नृत्य या कला में हाथों और शरीर की विभिन्न अवस्थाएँ
- समृद्ध – संपन्न, धनी